नयी दिल्ली, 20 फरवरी (कड़वा सत्य) कांग्रेस नेता डॉ. उदित राज ने कहा है कि इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) की मतदान प्रणाली पारदर्शी नहीं है और इसमें बहुत खामियां हैं इसलिए चुनाव आयोग को इस मुद्दे पर इंडी गठबंधन की नेताओं की बात सुननी चाहिए।
ईवीएम हटाओ मोर्चा के संयोजक एवं कांग्रेस प्रवक्ता डॉ. उदित राज ने मंगलवार को यहां प्रेस क्लब में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि कांग्रेस तथा इंडी गठबंधन नेता ईवीएम से जुड़े मुद्दों को लेकर चुनाव आयोग से मिलना चाहते हैं, लेकिन आयोग उन्हें मिलने का समय नहीं दे रहा है, इसलिए मोर्चा ने 22 फरवरी से यहां जंतर मंतर पर ईवीएम के विरुद्ध धरना प्रदर्शन करने का निर्णय लिया है।
उन्होंने ईवीएम को ‘ब्लैक बॉक्स’ करार दिया और कहा कि इस पर जनता का भरोसा बहुत कम रह गया है और इन मशीनों से मतदान में आवश्यक ‘लोकतंत्र सिद्धांतों’ का अनुपालन नहीं हो पा रहा है। इस प्रणाली से यह साबित नहीं हो पाता है कि मतदाता ने जिसे वोट दिया है, उसका वोट उसी को गया है। उनका कहना था कि ईवीएम हैकिंग, छेड़छाड़ और नकली मतदान के खिलाफ प्रमाणित गारंटी नहीं है, इसलिए वीवीपीएटी प्रणाली मतदाता को वोट डालने से पहले पर्ची को सत्यापित करने की अनुमति नहीं देता।
उन्होंने कहा कि वीवीपीएटी प्रणाली गलत वोट पड़ने पर मतदाता को वोट रद्द करने की शक्ति प्रदान नहीं करता, हालांकि ईवीएम के साथ वीवीपैट की व्यवस्था है लेकिन ‘वोटर वेरिफ़िएबल पेपर ट्रेल’ को ‘बायोस्कोप’ के स्तर तक कम कर दिया गया है जो सात सेकंड के लिए एक छोटी ‘पेपर स्लिप’ दिखाता है और फिर गायब हो जाता है।
डॉ. उदित राज ने कहा कि ईवीएम प्रणाली के तहत होने वाले चुनाव असंवैधानिक भी हो सकते हैं, क्योंकि ईवीएम वीवीपैट मतदान या मतगणना प्रणाली में पूरी तरह से अपारदर्शी हैं। सब कुछ एक मशीन में गैर-पारदर्शी तरीके से बिना परीक्षण, ज्ञान और संतुष्टि के कैद किया जाता है और मतदाता को केवल सात सेकंड के लिए एक पर्ची देखने का मौका मिलता है।
अभिनव, यामिनी













