नयी दिल्ली 15 जनवरी (कड़वा सत्य) राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु सोमवार को यहां प्रधानमंत्री संग्रहालय गयी जहां उन्होंने नरेन्द्र मोदी दीर्घा को भी देखा।
संस्कृति मंत्रालय के अनुसार नरेन्द्र मोदी दीर्घा मंगलवार से लोगों के लिए खोली जायेगी और इससे पहले राष्ट्रपति द्रौपदी इसे देखने वाली पहली दर्शक बन गयी। राष्ट्रपति प्रधानमंत्री संग्रहालय में करीब डेढ घंटे रही और उन्होंने पुराने भवन में संविधान दीर्घा को भी देखा।
उन्होंने संग्रहालय के विभिन्न खंडों जैसे सुशासन, पर्यावरण, विकास, अंतरराष्ट्रीय सद्भाव, विज्ञानोदय, सांस्कृतिक धरोहर और सुरक्षा, जनभागीदारी को रूचि के साथ देखा। वह विशेष रूप से ‘इमर्सिव और इंटरैक्टिव डिस्प्ले’ से प्रभावित थीं। उन्होंने अनुभूति क्षेत्र का भी दौरा किया। राष्ट्रपति ने संग्रहालय के प्रति सराहना व्यक्त करते हुए आगंतुक पुस्तिका में लिखा, ‘ मुझे विश्वास है कि प्रत्येक भारतीय नागरिक जो यहां आएगा और संग्रहालय की विभिन्न दीर्घाओं को देखेगा, उसे गर्व महसूस होगा।’
उन्होंने वहां आधुनिक भारत के मंदिरों और आजादी के तुरंत बाद बनाए गए संस्थानों की प्रदर्शनियां भी देखीं। उन्होंने तोशाखाना को दिलचस्पी से देखा, जहां देश-विदेश के प्रधानमंत्रियों को मिले उपहार प्रदर्शित हैं। राष्ट्रपति ने भारत के पहले प्रधान मंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू के निजी विंग का भी दौरा किया जहां उनका शयनकक्ष और अध्ययन कक्ष स्थित है।
संग्रहालय की नई इमारत में राष्ट्रपति ने विभिन्न प्रधानमंत्रियों की दीर्घाओं में जाने से पहले ‘फ्रीडम एंड यूनिटी गैलरी’ देखी, जिसमें महात्मा गांधी, सरदार वल्लभभाई पटेल और नेताजी सुभाष चंद्र बोस पर फिल्में दिखाई जाती हैं। राष्ट्रपति ने बैडमिंटन रैकेट और चरखे तथा लाल बहादुर शास्त्री की पासबुक को दिलचस्पी से देखा। उन्होंने जयप्रकाश नारायण के पत्रों और उनकी जेल डायरी को भी बड़ी दिलचस्पी से देखा। उन्होंने पोखरण 2 परमाणु परीक्षण, स्वर्णिम चतुर्भुज का प्रदर्शन और कारगिल युद्ध फिल्म देखी। राष्ट्रपति ने भारत-अमेरिका असैन्य परमाणु समझौते से संबंधित तस्वीरों को भी दिलचस्पी से देखा।
संजीव