• About us
  • Contact us
Monday, November 24, 2025
15 °c
New Delhi
21 ° Tue
21 ° Wed
Kadwa Satya
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
    • टेक्नोलॉजी
    • रोजगार
    • शिक्षा
  • जीवन मंत्र
    • व्रत त्योहार
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
    • बॉलीवुड
    • गीत संगीत
    • भोजपुरी
  • स्पेशल स्टोरी
No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
    • टेक्नोलॉजी
    • रोजगार
    • शिक्षा
  • जीवन मंत्र
    • व्रत त्योहार
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
    • बॉलीवुड
    • गीत संगीत
    • भोजपुरी
  • स्पेशल स्टोरी
No Result
View All Result
Kadwa Satya
No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
  • जीवन मंत्र
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
  • स्पेशल स्टोरी
Home राजनीति

विश्व कल्याण की कामना के साथ संगम की रेती में हुयी कल्पवास की शुरुआत

News Desk by News Desk
January 13, 2025
in राजनीति
विश्व कल्याण की कामना के साथ संगम की रेती में हुयी कल्पवास की शुरुआत
Share on FacebookShare on Twitter

महाकुंभनगर,13 जनवरी (कड़वा सत्य) महाकुंभनगर नगर में सोमवार को पौष पूर्णिमा स्नान के साथ हजारों की संख्या में कल्पवासियों ने विश्व कल्याण की कामना के साथ मां तुलसी का पूजन कर कल्पवास का शंखनाद किया।
धर्म संघ अध्यक्ष एवं तीर्थ पुरोहित राजेंद्र पालीवाल ने बताया कि माघ मास में दो चक्र में लोग कल्पवास करते हैं। पहले खंड में मकर संक्रांति से माघ शुक्लपक्ष की मकर संक्रांति तक मैथिल ब्राह्मण कल्पवास करते हैं। दूसरे खण्ड पौष पूर्णिमा से माघी पूर्णिमा तक साधु-संत एवं बड़ी संख्या में गृहस्थ कल्पवास करते हैं।
उन्होंने बताया कि गृहस्थ कल्पवासी गंगा के तीरे विस्तीर्ण रेती पर भैतिक सुख का त्यागकर आध्यात्म में लीन होकर काया शोधन का एक माह तक कल्वास करेंगे। तड़के गंगा स्नान कर अपने-अपने शिवरो में भगवान की पूजा, भजन करने के साथ साधु संतो के प्रवचन का श्रवण करेंगे। इस दौरान कल्पवासी भौतिक सुख का त्याग कर सात्विक जीवन जीने का निर्वहन करेंगे।
श्री पालीवाल ने बताया कि महाकवि तुलसीदास ने  चरितमानस में मकर संक्रांति की महत्ता का वर्णन करते हुए लिखा है कि “ माघ मकर गति रवि जब होई। तीरथ पतिहिं आवै सब कोई, देव दनुज किन्नर नर श्रेणी। सादर मज्जहिं सकल त्रिवेणी। पूजहि माधव पद जल जाता। परसि अखय वटु हरषहि गाता।”
उन्होंने बताया कि तुलसीदास ने इस दोहे के ज़रिए समझाया है कि जब सूर्य मकर राशि में प्रवेश करता है, तब प्रयाग में त्रिवेणी स्नान करना बहुत पुण्यदायी होता है। ऐसा माना जाता है कि गंगा, यमुना, और सरस्वती के संगम पर प्रयाग में मकर संक्रांति के दिन सभी देवी-देवता अपना स्वरूप बदलकर स्नान करने आते हैं।
श्री पालीवाल ने कहा कि पुराणों और धर्मशास्त्रों में कल्पवास को आत्मा शुद्धि और आध्यात्मिक उन्नति के लिए जरूरी बताया गया है। यह मनुष्य के लिए आध्यात्म की राह का एक पड़ाव है, जिसके जरिए स्वनियंत्रण एवं आत्मशुद्धि का प्रयास किया जाता है। हर वर्ष  लु एक महीने तक संगम के विस्तीर्ण रेती पर तंबुओं की आध्यात्मिक नगरी में रहकर अल्पाहार, तीन समय गंगा स्नान, ध्यान एवं दान करके कल्पवास करना चाहिए तथा अपने को लोकाचार से दूर रखना चाहिए।
तीर्थ पुराेहित ने बताया कि आदिकाल से चली आ रही इस परंपरा के महत्व की चर्चा वेदों से लेकर महाभारत और  चरितमानस में अलग-अलग नामों से मिलती है। बदलते समय के अनुरूप कल्पवास करने वालों के तौरतरीक में कुछ बदलाव जरूर आए हैं लेकिन कल्पवास करने वालों की संख्या में वृद्धि हुई है। आज भी  लु भयंकर सर्दी में कम से कम संसाधनों की मदद लेकर कल्पवास करते हैं।
श्री पालीवाल ने बताया कि भारत की आध्यात्मिक सांस्कृतिक, सामाजिक एवं वैचारिक विविधताओं को एकता के सूत्र में पिरोने वाला महाकुंभ मेला भारतीय संस्कृति का द्योतक है। इस मेले में सनातन संस्कृति की झलक देखने को मिलती है।बताया कि पौष कल्पवास के लिए वैसे तो उम्र की कोई बाध्यता नहीं है, लेकिन माना जाता है कि संसारी मोहमाया से मुक्त और जिम्मेदारियों को पूरा कर चुके व्यक्ति को ही कल्पवास करना चाहिए क्योंकि जिम्मेदारियों से बंधे व्यक्ति के लिए आत्मनियंत्रण कठिन माना जाता है।
माघ मेला, कुंभ, और महाकुंभ दुनिया का सबसे बड़ा आध्यात्मिक और सांस्कृतिक समागम है जिसकी दुनिया में कोई मिसाल नहीं मिलती। इसके लिए किसी प्रकार का न/न तो प्रचार किया जाता है और न ही इसमें आने के लिए लोगों से मिन्नतें की जाती हैं। तिथियों के पंचांग की एक तारीख पर करोड़ों लोगों पुण्य के पवित्र अवसर पर दूर दराज से पहुंचकर तीर्थराज प्रयाग में पतित पावनी गंगा, श्यामल यमुना और अन्त: सलिला स्वरूप में प्रवाहित सरस्वती में आस्था की डुबकी लगाते हैं।

Tags: beginningconfluencekalpavassandWelfarewishworldकल्पवासकल्याणकामनारेतीविश्वशुरुआतसंगम
Previous Post

आईडीबीआई बैंक ने की चिरंजीवी-सुपर सीनियर सिटिजन एफडी की शुरुआत

Next Post

आप है पूर्वांचल विरोधी, महाठग है केजरीवालः भाजपा

Related Posts

पिता संग महाकुम्भ पहुंचीं साइना नेहवाल
खेल

पिता संग महाकुम्भ पहुंचीं साइना नेहवाल

February 5, 2025
हैकाथॉन के लिए विश्व भर से 5600 पंजीकरण
देश

हैकाथॉन के लिए विश्व भर से 5600 पंजीकरण

February 4, 2025
लॉरियस विश्व खेल पुरस्कार की घोषणा 21 अप्रैल होगी
खेल

लॉरियस विश्व खेल पुरस्कार की घोषणा 21 अप्रैल होगी

February 4, 2025
सिल्वर से शुरुआत, सोने की ओर बढ़ते कदम:नीरज ने बढ़ाया उत्तराखंड का मान
खेल

सिल्वर से शुरुआत, सोने की ओर बढ़ते कदम:नीरज ने बढ़ाया उत्तराखंड का मान

February 4, 2025
पाकिस्तान में देशव्यापी पोलियो उन्मूलन अभियान की शुरुआत
विदेश

पाकिस्तान में देशव्यापी पोलियो उन्मूलन अभियान की शुरुआत

February 3, 2025
मुर्मु ने विश्व पुस्तक मेला 2025 का उद्घाटन किया
देश

मुर्मु ने विश्व पुस्तक मेला 2025 का उद्घाटन किया

February 2, 2025
Next Post
आप है पूर्वांचल विरोधी, महाठग है केजरीवालः भाजपा

आप है पूर्वांचल विरोधी, महाठग है केजरीवालः भाजपा

New Delhi, India
Monday, November 24, 2025
Mist
15 ° c
77%
5mh
26 c 18 c
Tue
25 c 17 c
Wed

ताजा खबर

पटना के डॉ. प्रभात रंजन को कॉमनवेल्थ फेलोशिप सम्मान — हैदराबाद में CJI सूर्यकांत ने किया सम्मानित

पटना के डॉ. प्रभात रंजन को कॉमनवेल्थ फेलोशिप सम्मान — हैदराबाद में CJI सूर्यकांत ने किया सम्मानित

November 23, 2025
देश में शिक्षा के पतन की पोल खोल रही बापूराव की पुस्तक !

इंडिया चाइल्ड प्रोटेक्शन और गलगोटिया यूनिवर्सिटी ने बाल संरक्षण पर विशेष कोर्स के लिए मिलाया हाथ

November 22, 2025
देश में शिक्षा के पतन की पोल खोल रही बापूराव की पुस्तक !

देश में शिक्षा के पतन की पोल खोल रही बापूराव की पुस्तक !

November 22, 2025
India A vs Bangladesh A: सुपर ओवर में भारत ए की हार, वैभव सूर्यवंशी को नहीं भेजने पर फैंस नाराज़

India A vs Bangladesh A: सुपर ओवर में भारत ए की हार, वैभव सूर्यवंशी को नहीं भेजने पर फैंस नाराज़

November 22, 2025
Delhi Weather Update: कोहरा, ठंड और गंभीर प्रदूषण ने बढ़ाई मुश्किलें, आज तापमान 24-25 डिग्री

Delhi Weather Update: कोहरा, ठंड और गंभीर प्रदूषण ने बढ़ाई मुश्किलें, आज तापमान 24-25 डिग्री

November 22, 2025

Categories

  • अपराध
  • अभी-अभी
  • करियर – शिक्षा
  • खेल
  • गीत संगीत
  • जीवन मंत्र
  • टेक्नोलॉजी
  • देश
  • बॉलीवुड
  • भोजपुरी
  • मनोरंजन
  • राजनीति
  • रोजगार
  • विदेश
  • व्यापार
  • व्रत त्योहार
  • शिक्षा
  • संपादकीय
  • स्वास्थ्य
  • About us
  • Contact us

@ 2025 All Rights Reserved

No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
    • टेक्नोलॉजी
    • रोजगार
    • शिक्षा
  • जीवन मंत्र
    • व्रत त्योहार
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
    • बॉलीवुड
    • गीत संगीत
    • भोजपुरी
  • स्पेशल स्टोरी

@ 2025 All Rights Reserved