• About us
  • Contact us
Tuesday, September 2, 2025
28 °c
New Delhi
26 ° Wed
26 ° Thu
Kadwa Satya
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
    • टेक्नोलॉजी
    • रोजगार
    • शिक्षा
  • जीवन मंत्र
    • व्रत त्योहार
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
    • बॉलीवुड
    • गीत संगीत
    • भोजपुरी
  • स्पेशल स्टोरी
No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
    • टेक्नोलॉजी
    • रोजगार
    • शिक्षा
  • जीवन मंत्र
    • व्रत त्योहार
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
    • बॉलीवुड
    • गीत संगीत
    • भोजपुरी
  • स्पेशल स्टोरी
No Result
View All Result
Kadwa Satya
No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
  • जीवन मंत्र
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
  • स्पेशल स्टोरी
Home देश

बिलकिस सामूहिक दुष्कर्म के 11 दोषियों की समयपूर्व रिहाई रद्द, दो सप्ताह में आत्मसमर्पण का आदेश

News Desk by News Desk
January 8, 2024
in देश
बिलकिस सामूहिक दुष्कर्म के 11 दोषियों की समयपूर्व रिहाई रद्द, दो सप्ताह में आत्मसमर्पण का आदेश
Share on FacebookShare on Twitter

नयी दिल्ली, 08 जनवरी (कड़वा सत्य) उच्चतम न्यायालय ने 2002 के गुजरात दंगों के दौरान बिलकिस बानो के साथ सामूहिक दुष्कर्म और उनके परिवार के सात सदस्यों की हत्या मामले में अजीवन कारावास की सजा काट रहे 11 दोषियों की 2022 में समयपूर्व रिहाई के गुजरात सरकार के फैसले को अवैध करार देते हुए सोमवार को रद्द कर दिया।
शीर्ष अदालत ने दोषियों को दो सप्ताह के भीतर संबंधित जेल प्रशासन के समक्ष आत्मसमर्पण का आदेश दिया है।
न्यायमूर्ति बी वी नागरत्ना और न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां की पीठ ने अपने फैसले में कहा कि इस मामले में सजामाफी के मुद्दे पर गुजरात सरकार ने 10 अगस्त 2022 को जो फैसला किया, वह उसके अधिकार क्षेत्र में नहीं आता, इसलिए सजामाफी का उसका फैसला रद्द किया जाता है। पीठ ने कहा कि मुकदमे की सुनवाई महाराष्ट्र की अदालत में हुई थी, इसलिए सजामाफी पर फैसला लेना वहां की सरकार के अधिकार क्षेत्र में आता है।
पीठ ने अपने फैसले में कहा, “हम मानते हैं कि गुजरात सरकार के पास माफी मांगने वाले आवेदनों पर विचार करने का कोई अधिकार नहीं था, क्योंकि यह इस मामले में आपराधिक प्रक्रिया संहिता के प्रावधानों के तहत उपयुक्त (सरकार) नहीं थी।”
पीठ ने कहा, “इसलिए छूट के आदेश दिनांक 10.08.2022 को दिए गए प्रतिवादी संख्या 3 से 13 (11 दोषियों) का पक्ष अवैध और अनुचित है। इसलिए इसे खारिज कर दिया गया है।’
न्यायमूर्ति नागरत्ना की पीठ ने यह भी माना कि शीर्ष अदालत की दो सदस्यीय एक अन्य पीठ का 13 मई 2022 का आदेश “कानून की नजर में शून्य और गैर-मान्य” (उसकी कोई कानूनी मान्यता नहीं) था, क्योंकि यह अदालत को अंधेरे में रखकर (तथ्य छुपा कर) हासिल किया गया था। यह आदेश यह एक बाध्यकारी मिसाल नहीं है।
पीठ ने कहा अदालत के समक्ष पूरे तथ्यों का खुलासा न करना और तथ्यों को गलत तरीके से पेश करना गलत है।
शीर्ष अदालत की दो सदस्यीय पीठ ने गुजरात सरकार को 11 दोषियों की सजा में छूट का निर्णय वास्तविक तथ्यों के आधार पर लेने अनुमति दी थी।
शीर्ष अदालत ने यह भी माना कि पीड़िता बिलकिस बानो द्वारा गुजरात सरकार के सजामाफी आदेश को चुनौती देने वाली याचिका सुनवाई के योग्य है। हालांकि, उसने कहा कि यह निष्कर्ष देना जरूरी नहीं है कि मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी की पूर्व सांसद सुभाषिनी अली समेत अन्य कई ओर से दायर जनहित याचिकाएं सुनवाई योग्य थीं या नहीं।
पीठ ने कहा कि यह सवाल पूरी तरह अकादमिक है। इसे अन्य उचित मामले में विचार के लिए खुला रखा गया है।
पीठ ने कहा, “विशेष न्यायालय मुम्बई (महाराष्ट्र) की राय गुजरात सरकार द्वारा अप्रभावी बना दिया गया। गुजरात के पास किसी भी मामले में माफी की याचिका पर विचार करने का कोई अधिकार नहीं था।
शीर्ष अदालत ने यह भी कहा कि जेल सलाहकार समिति (दाहोद) और अन्य अधिकारियों ने इस तथ्य को नजरअंदाज कर दिया था कि दोषियों ने अभी तक विशेष न्यायालय (मुंबई) द्वारा आदेशित और बंबई उच्च न्यायालय की ओर से उसकी पुष्टि की गई जुर्माने की रकम का भुगतान नहीं किया है।
गुजरात सरकार की 1992 की माफी नीति के तहत बाकाभाई वोहानिया, जसवंत नाई, गोविंद नाई, शैलेश भट्ट, राधेश्याम शाह, विपिन चंद्र जोशी, केशरभाई वोहानिया, प्रदीप मोढ़वाडिया, राजूभाई सोनी, मितेश भट्ट और रमेश चांदना को 15 अगस्त 2022 को गोधरा उप कारागर से रिहा कर दिया गया था। रिहा करने के फैसले पर काफी विवाद हुआ था और इसे पीड़िता सहित अन्य ने अदालत में चुनौती दी थी।
शीर्ष अदालत ने बिलकिस की याचिका और अन्य की याचिकाओं पर सुनवाई पूरी होने के बाद 12 अक्टूबर 2023 को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।
शीर्ष अदालत ने सुनवाई के दौरान कहा था कि अपराध “भयानक” है, लेकिन वह “भावनाओं में” नहीं आएगी। केवल कानून के आधार पर इस मामले में फैसला करेगी।
बिलकिस ने नवंबर 2022 में अदालत का दरवाजा खटखटाया। अपनी याचिका में उन्होंने दलील दी थी कि यह ‘सबसे भयानक अपराधों में से एक था।’ एक विशेष समुदाय के प्रति नफरत से प्रेरित अत्यधिक अमानवीय हिंसा और क्रूरता थी।
बिलकिस के अलावा सुश्री सुभाषिनी अली, स्वतंत्र पत्रकार रेवती लौल और लखनऊ विश्वविद्यालय की पूर्व कुलपति रूप रेखा वर्मा और निष्कासित तृणमूल सांसद महुआ मोइत्रा ने भी दोषियों को दी गई छूट के खिलाफ जनहित याचिकाएं दायर की थीं। याचिकाकर्ताओं ने दावा किया कि अगस्त 2022 में दोषियों को रिहा करने का आदेश मनमाना, दुर्भावनापूर्ण और पक्षपातपूर्ण था।
इसके उलट, दोषियों ने दावा किया था कि एक बार जेल से रिहा होने के बाद संविधान के अनुच्छेद 32 के तहत दायर याचिकाओं के मद्देनजर उनकी स्वतंत्रता को प्रभावित नहीं किया जा सकता और न ही इसमें हस्तक्षेप किया जा सकता है।
उन्होंने यह भी तर्क दिया कि आपराधिक प्रक्रिया संहिता के तहत भी पीड़ितों और शिकायतकर्ताओं की सीमित भूमिका होती है। एक बार सजा सुनाए जाने के बाद पीड़ित की भूमिका समाप्त हो जाती है। दोषियों ने यह भी दलील दी थी कि उन्हें केवल इस आधार पर सजा में छूट का लाभ देने से इनकार नहीं किया जा सकता कि अपराध जघन्य था।
गुजरात सरकार का तर्क था कि उसने शीर्ष अदालत की एक अन्य पीठ के 13 मई 2022 के फैसले के आधार पर और 15 साल जेल की सजा काटने के बाद 11 दोषियों को सजा में छूट दी थी। सरकार ने कहा था कि गुजरात की 1992 की छूट नीति के सभी अनुपालन कानूनी रूप से और उचित प्रक्रिया के साथ किए गए थे।
सुनवाई के दौरान शीर्ष अदालत ने जानना चाहा था कि छूट की नीति चुनिंदा तरीके से क्यों लागू की जा रही है। सुधार का अवसर प्रत्येक दोषी को दिया जाना चाहिए, कुछ को नहीं।
पीठ ने पूछा था कि सवाल यह है कि सामूहिक रूप से नहीं, बल्कि कहां पात्र हैं। क्या 14 साल के बाद उम्रकैद की सजा पाने वाले सभी दोषियों को छूट का लाभ दिया जा रहा है।
बीरेंद्र, यामिनी

Tags: 2002Bilkis Banofamilygang rapeGujarat riotsmurder casesNew Delhiseven membersSupreme Courtउच्चतम न्यायालयगुजरात दंगोंनयी दिल्लीपरिवारबिलकिस बानोसात सदस्योंसामूहिक दुष्कर्महत्या मामले
Previous Post

राजनाथ ने एनसीसी की चार इकाई बढाने को मंजूरी दी

Next Post

निशानेबाजी में वरुण तोमर, ईशा सिंह ने सुरक्षित किया पेरिस 2024 कोटा

Related Posts

SC का बड़ा फैसला: शिक्षक सेवा और प्रमोशन के लिए अब अनिवार्य होगा TET, जानें किसे मिली राहत
देश

SC का बड़ा फैसला: शिक्षक सेवा और प्रमोशन के लिए अब अनिवार्य होगा TET, जानें किसे मिली राहत

September 2, 2025
Breaking News: सरकारी एम एस एम ई पत्रिका बनी गलतियों का पिटारा! प्रधानमंत्री की तस्वीर से मजाक !
देश

Breaking news: एम एस एम ई मंत्रालय की पत्रिका ने राष्ट्रपति को भी हंसी का पात्र बनाया !

August 27, 2025
Aadhaar-UAN Link: EPFO ने किया प्रोसेस बेहद आसान, अब 7 स्टेप में तुरंत होगा काम
अभी-अभी

Aadhaar-UAN Link: EPFO ने किया प्रोसेस बेहद आसान, अब 7 स्टेप में तुरंत होगा काम

August 17, 2025
महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे का बड़ा आरोप, ‘अगर न्याय नहीं मिला तो मर जाएगा लोकतंत्र’, सुप्रीम कोर्ट से की यह अपील
देश

महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे का बड़ा आरोप, ‘अगर न्याय नहीं मिला तो मर जाएगा लोकतंत्र’, सुप्रीम कोर्ट से की यह अपील

August 14, 2025
ट्रंप का बड़ा वार: भारत पर 50% टैरिफ! रूस से तेल खरीद पर अमेरिका ने उठाया सख्त कदम, सरकार बोली- लेंगे जवाबी एक्शन
अभी-अभी

ट्रंप का बड़ा वार: भारत पर 50% टैरिफ! रूस से तेल खरीद पर अमेरिका ने उठाया सख्त कदम, सरकार बोली- लेंगे जवाबी एक्शन

August 6, 2025
Petrol Diesel Price Today: हर सुबह बदलते हैं तेल के दाम, जानिए आज आपके शहर में कितने का मिल रहा पेट्रोल-डीजल
देश

Petrol Diesel Price Today: हर सुबह बदलते हैं तेल के दाम, जानिए आज आपके शहर में कितने का मिल रहा पेट्रोल-डीजल

July 28, 2025
Next Post
निशानेबाजी में वरुण तोमर, ईशा सिंह ने सुरक्षित किया पेरिस 2024 कोटा

निशानेबाजी में वरुण तोमर, ईशा सिंह ने सुरक्षित किया पेरिस 2024 कोटा

New Delhi, India
Tuesday, September 2, 2025
Moderate or heavy rain with thunder
28 ° c
89%
19.8mh
29 c 24 c
Wed
27 c 24 c
Thu

ताजा खबर

WRI India’s ASCENT Tool: राज्यों को मिलेगा जलवायु नीति और नेट-ज़ीरो लक्ष्यों का नया हथियार

WRI India’s ASCENT Tool: राज्यों को मिलेगा जलवायु नीति और नेट-ज़ीरो लक्ष्यों का नया हथियार

September 2, 2025
Punjab Floods 2025: 2.56 लाख लोग प्रभावित, 15 हजार से ज्यादा सुरक्षित निकाले गए – अब तक 29 की मौत

Punjab Floods 2025: 2.56 लाख लोग प्रभावित, 15 हजार से ज्यादा सुरक्षित निकाले गए – अब तक 29 की मौत

September 2, 2025
14 घंटे की फ्लाइट देरी, सिर्फ बर्गर-फ्रेंच फ्राई! SpiceJet को यात्री को देने होंगे 55,000 रुपए मुआवज़ा

14 घंटे की फ्लाइट देरी, सिर्फ बर्गर-फ्रेंच फ्राई! SpiceJet को यात्री को देने होंगे 55,000 रुपए मुआवज़ा

September 2, 2025
Delhi Flood Alert: हथिनी कुंड से छोड़ा गया 3 लाख क्यूसेक पानी, यमुना खतरे के निशान के करीब – 48 घंटे भारी बारिश का अलर्ट!

Delhi Flood Alert: हथिनी कुंड से छोड़ा गया 3 लाख क्यूसेक पानी, यमुना खतरे के निशान के करीब – 48 घंटे भारी बारिश का अलर्ट!

September 2, 2025
Who Is Harnaaz Kaur Sandhu: मिस यूनिवर्स से बॉलीवुड तक का सफर, अब टाइगर श्रॉफ संग ‘बागी 4’ से धमाकेदार डेब्यू

Who Is Harnaaz Kaur Sandhu: मिस यूनिवर्स से बॉलीवुड तक का सफर, अब टाइगर श्रॉफ संग ‘बागी 4’ से धमाकेदार डेब्यू

September 2, 2025

Categories

  • अपराध
  • अभी-अभी
  • करियर – शिक्षा
  • खेल
  • गीत संगीत
  • जीवन मंत्र
  • टेक्नोलॉजी
  • देश
  • बॉलीवुड
  • भोजपुरी
  • मनोरंजन
  • राजनीति
  • रोजगार
  • विदेश
  • व्यापार
  • व्रत त्योहार
  • शिक्षा
  • संपादकीय
  • स्वास्थ्य
  • About us
  • Contact us

@ 2025 All Rights Reserved

No Result
View All Result
  • Home
  • संपादकीय
  • देश
  • विदेश
  • राजनीति
  • व्यापार
  • खेल
  • अपराध
  • करियर – शिक्षा
    • टेक्नोलॉजी
    • रोजगार
    • शिक्षा
  • जीवन मंत्र
    • व्रत त्योहार
  • स्वास्थ्य
  • मनोरंजन
    • बॉलीवुड
    • गीत संगीत
    • भोजपुरी
  • स्पेशल स्टोरी

@ 2025 All Rights Reserved